इस साल गणतंत्र दिवस पर जिन हस्तियों को पद्मश्री से नवाज गया है, उनमे राजस्थान के भजन गाने वाले, गाय की सेवा करने वाले रमजान खान को भी शामिल किया गया है। पदम् श्री पुरुस्कार 2020 के लिए 5 हस्तियों को चुना गया है। जिसे राष्ट्रपति ने सम्मनित किया । इन 5 हस्तियों में ऐसे लोगो के नाम शामिल है जिनको स्वयं पर भी विश्वास नही है कि वो इस लायक है।
वो सब हैरान है कि हमे इस काम के लिए पद्म श्री पुरुस्कार से नवाजा जाएगा। फिरोज खान जो प्रोफेसर है इनका परिवार राजस्थान के जयपुर जिले से 35 किलोमोटर दूर बगरू स्थान पर रहता है। रमजान खान के बेटे जो थोड़े समय पहले सुर्खियों में थे जिनका विरोध छात्रों ने किया था। फिरोज खान ने अपना बचपन संस्कृत सीखते हुए और हिन्दू परम्पराओ के बीच बिताया है।
इनके पिता ने संस्क्रत में शास्त्री योग्यता हासिल की है। इनके पिता भक्ति गीत भी गाते है और पास की गोशाला में गायों की सेवा भी करते है। इसी के साथ साथ वो मस्जिद भी जाते है और नमाज भी पड़ते है। फिरोज को छात्रों के द्वारा हुए विरोध करने के बाद अपना इस्तीफा देना पड़ा था लेकिन बाद में उन्होंने वही पर आर्ट्स फेकल्टी जॉइन कर ली थीं।
21 people have been conferred with Padma Shri Awards 2020 including Jagdish Jal Ahuja, Mohammed Sharif, Tulasi Gowda and Munna Master. #RepublicDay pic.twitter.com/7blGTjxe9q
— ANI (@ANI) January 25, 2020
पद्म श्री मिलने के बाद रमजान ने कहा कि यह मेरे लिए गर्व की बात है कि मुझे इतने बड़े पद के साथ सम्मनित किया गया और मुझे चुना गया है। उन्होंने करीबी दोस्त चंपालाल जी का शुक्रिया अदा किया है। अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा मुझे गोसेवा का रास्ता दिखाया जो राष्ट्र के प्रति एक सच्ची सेवा है। सरकार का भी शुक्रिया जिसने मुझे यह सम्मान दिया है।
फि’रोज खान ने अपनी पढ़ाई शुरू से संस्क्र’त भाषा मे ही कि है। फिरोज का BHU के संस्क्रत विद्या धर्म विज्ञान संकाय के साहित्य विभाग में अ’सिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर नियुक्त किया गया था। छात्रों का कहना था कि एक गैर हि’न्दू शिक्ष’क संस्क्रत में धार्मि’क अ’नुष्ठान नही सीखा सकता है। इसका वि’रोध करीब 1 महीने तक चला था। इनके पिता ने जब से यह काम शुरू किया।