CAA का वि’रोध करने वाले फिल्म डायरेक्टर को मिली इस कारण ध’मकी,बोले- आई डोन्ट केयर

देश भर में ना’गरिकता का’नून के वि’रो’ध में लगातार आवाज उठ है । रा’ज्यसभा में का’नून पास होने के बाद से ही लगातार इस कानून के वि’रोध में सभाएं , रैलियां और ह्यूमन चैन बनाई जा रही है। ना’गरिकता का’नून के वि’रोध में अमजद खान कूद आए है । नाग’रिकता कानू’न पर अ’मजद ने अपना पक्ष रखते हुए इस का’नून का वि’रोध किया । उन्होंने साफ किया कि वो शाहीन बाग , जामिया में बैठे छात्रों , महिलाओं के साथ है।

उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि अगर देश रहेगा और सँवि’धान रहेगा तो फिल्मे कभी भी बनाई जा सकती है। ट्वीट में। अमजद लिखते है “मैं एक फ़िल्म डायरेक्टर हु और मुझे अपनी आने वाली फिल्म की चिं’ता रहती है। लेकिन मैं आज एक फ़िल्म डायरेक्टर से पहले एक देशभक्त हु । इसलिए पहले देश है , संविधान है फिल्में तो बाद में भी बनती रहेगी ।

नॉबेल पुरुस्कार विजेता मलाला यूसुफजई को कौन नही जानता । समाजसेवी मलाला की जिंदगी पर बन रही फिल्म गुलमकई रिलीज़ के लिए तैयार बताई जा रही है । यह फ़िल्म 31 जनवरी को रिलीज़ होने वाली है । मलाला की जिंदगी पर बन रही फ़िल्म के डायरेक्टर एचई अहमद खान है । इस फ़िल्म को रिलीज़ होने में कुछ ही वक़्त ही बचा है लेकिन इस फ़िल्म से जुड़े विवाद भी पीछे नही छोड़ रहा है ।

इस फ़िल्म को लेकर एक और वि’वाद सामने आ रहा है, विवाद है फ़िल्म निर्देशक को जा’न से मा’रने की धमकियों का। मीडिया से बात करते हुए फ़िल्म निर्देशन ने कहा कि जब वह मलाला जी जिंदगी पर फ़िल्म बना रहे थे तो उन्हें जा’न से मा’र’ने की ध’मकि’यां बीच बीच मे आ रही थी । लेकिन वो इस प्रोजेक्ट से पीछे हटने के मू’ड में कभी नही दिखे। उन्होंने कहा कि मलाला के बारे में बहुत लोग जानते है लेकिन उनकी जिंदगी से जुड़ी चीज़े लोगों के पास नही पहुँची है ।

खान ने साफ किया यह फ़िल्म मलाला की जिंदगी पर आधारित है । इस फ़िल्म में स्क्रीनिंग 1 साल पहले सँयुक्त राष्ट्र में कई थी । अमजद खान ने कहा कि जब इस फ़िल्म की स्क्रीनिंग की थी तब इसे अच्छा रिस्पांस मिला था । खान ने कहा कि मलाला के पिता ने ये फ़िल्म देखी है । जब वह यह फ़िल्म देख रहे थे तब वो आंसू नही रोक पाए थे , उन्हें ये फ़िल्म पसंद भी आई थी ।

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